जिला, राज्य शासन की मूल क्षेत्रीय इकाई है जिसका मुख्य प्रशासनिक केंद्र एवं संगठनात्मक ढ़ाचा कलेक्ट्रेट होता है , यहाँ पर मुख्य रूप से भूमि-रिकॉर्ड से संबद्ध मामले, कानून और व्यवस्था, सेवा एवं विकास इत्यादि कार्य शामिल हैं। कलेक्टर के आधीन राजस्व विभाग के अधिकारी और उनके अधीनस्थ कर्मचारियों के साथ ,70 से अधिक विभाग के जिला स्तर के अधिकारी उनके अमले के साथ कार्य करते है ।
जिला प्रशासन के प्रमुख के रूप में राज्य सरकार की योजनाओ को लागू कराने की शक्तियाँ और व्यापक जिम्मेदारियाँ होती हैं। कलेक्टर जिले में सरकार का प्रतिनिधि हैं, एवं सरकार की नीतियों को लागू करने के लिए कई अधिनियमों के तहत वैधानिक शक्तियों प्राप्त है एवं अपनी प्रशाकीय शक्तियों से परे मामलों मे राज्य सरकार की अनुमति हेतु राज्य स्तर पर भेजता हैं। वह जिला मजिस्ट्रेट और जिला प्रशासन की धुरी के रूप में कानून व्यवस्था के संरक्षक हैं। वह अपने गैर-तकनीकी कार्यों के लिए विभिन्न विभागों में सामान्य पर्यवेक्षण का उपयोग करता है। विभिन्न विभागों की गतिविधियों की निगरानी, समन्वय, स्थानीय-स्वशासी निकायों पर नियंत्रण, योजनाओं का क्रियान्वयन / केंद्र या राज्य सरकार द्वारा शुरू किया गया चुनाव, जनगणना, आपात स्थितियों के समय राहत कार्य । वह महत्वपूर्ण जिला स्तरीय समितियों के पदेन अध्यक्ष हैं।